FY 2025: सोना-चांदी और शेयर बाजार का रिपोर्ट कार्ड, कौन चमका, कौन ढेर हुआ?
FY 2025: सोना-चांदी और शेयर बाजार का रिपोर्ट कार्ड, कौन चमका, कौन ढेर हुआ?
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FY 2025 Gold Silver And Stock Market Who Made A Record: वित्त वर्ष 2025 का समापन हो चुका है और अब निवेशकों के बीच एक सवाल गूंज रहा है- इस साल किसने मारी बाजी? सोना-चांदी या फिर शेयर बाजार, किसने दिया सबसे शानदार रिटर्न?

जैसे ही 31 मार्च को बाजार बंद हुआ, निवेशकों ने अपने पोर्टफोलियो का हिसाब-किताब शुरू कर दिया। आखिर अगले साल की रणनीति बनाने से पहले यह समझना जरूरी है कि कौन साबित हुआ हीरो और कौन रहा जीरो। तो चलिए, आंकड़ों की जुबानी जानते हैं कि इस बार सोने-चांदी ने कमाल दिखाया या सेंसेक्स-निफ्टी ने बाजी पलट दी।

FY 2025: सोने ने दिखाई चमक, बनाया रिकॉर्ड

सोना हमेशा से निवेशकों का भरोसेमंद साथी रहा है, लेकिन इस बार इसने उम्मीदों को भी पीछे छोड़ दिया। वित्त वर्ष 2025 में सोने की कीमतों ने जबरदस्त उछाल मारा। पिछले साल 28 मार्च 2024 को मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (MCX) पर सोना 67,701 रुपये प्रति 10 ग्राम था।

वहीं, इस साल 28 मार्च 2025 को बाजार बंद होने पर यह 88,806 रुपये पर पहुंच गया। यानी पूरे साल में सोने ने 21,105 रुपये की बढ़त हासिल की, जो 31.17% का शानदार रिटर्न है। खास बात यह कि 20 मार्च को सोना 89,796 रुपये के रिकॉर्ड स्तर पर पहुंचा था, हालांकि बाद में इसमें हल्की गिरावट देखी गई। फिर भी, सोने ने निवेशकों को मालामाल करने में कोई कसर नहीं छोड़ी।

चांदी ने मारी बाजी, दिया बंपर रिटर्न

अगर सोना चमका, तो चांदी ने उससे भी दो कदम आगे बढ़कर सबको हैरान कर दिया। इस वित्त वर्ष में चांदी की कीमतों में गजब की तेजी देखने को मिली। 28 मार्च 2024 को चांदी 75,048 रुपये प्रति किलोग्राम थी, जो साल के अंत तक 1,00,457 रुपये पर जा पहुंची।

यानी इसमें 25,409 रुपये की बढ़ोतरी हुई, जो 33.85% का रिटर्न देती है। अक्टूबर में तो चांदी ने 1,04,072 रुपये के ऑल-टाइम हाई को छुआ था। भले ही बाद में इसमें 3,615 रुपये की गिरावट आई, लेकिन चांदी ने साबित कर दिया कि वह सोने से भी बड़ी खिलाड़ी है।

शेयर बाजार का हाल: पहले उछाल, फिर ढलान

जहां सोना-चांदी ने निवेशकों के चेहरे पर मुस्कान बिखेरी, वहीं शेयर बाजार ने इस साल कुछ खास कमाल नहीं दिखाया। सेंसेक्स और निफ्टी की कहानी को दो हिस्सों में बांटा जा सकता है। अप्रैल से सितंबर तक बाजार में जोश दिखा। 27 सितंबर को सेंसेक्स 85,978.25 और निफ्टी 26,178.95 अंकों के रिकॉर्ड स्तर पर पहुंचे।

इस दौरान सेंसेक्स में 17% और निफ्टी में 17.25% की बढ़ोतरी हुई। लेकिन इसके बाद शुरू हुआ गिरावट का सिलसिला। अगले पांच महीनों में बाजार में भारी उतार-चढ़ाव देखा गया और निवेशकों के 90 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा डूब गए। हालांकि, मार्च में सेंसेक्स में 5.76% और निफ्टी में 6.30% की रिकवरी ने थोड़ी राहत दी। पूरे साल की बात करें तो सेंसेक्स 5.11% और निफ्टी 5.34% का रिटर्न दे पाया।

क्या चुनें निवेशक?

इस साल के आंकड़े साफ बताते हैं कि सोना और चांदी ने शेयर बाजार को पीछे छोड़ दिया। जहां कमोडिटी मार्केट में 30% से ज्यादा का रिटर्न मिला, वहीं सेंसेक्स और निफ्टी 5% के आसपास ही सिमट गए। लेकिन क्या यह ट्रेंड आगे भी जारी रहेगा?

विशेषज्ञों का मानना है कि वैश्विक आर्थिक हालात, ब्याज दरें और बाजार की अस्थिरता अगले साल के प्रदर्शन को तय करेंगे। निवेशकों के लिए यह समय सोच-समझकर फैसला लेने का है। आपका अगला कदम क्या होगा- सोने की चमक, चांदी की तेजी या शेयर बाजार की उम्मीद? यह तो वक्त ही बताएगा।

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